24 सितंबर, 2008

आज इनर्जी आडीटर के रोल में .....



TIP OF THE DAY... by.. ER.Vivek Ranjan Shrivastava.......for ..ENERGY SAVING...........TIP OF THE DAY...
आज इनर्जी आडीटर के रोल में .....
आमदनी के आय व्यय का आडिट किया ही जाता है .फिजूल खर्चे पर रोक का प्रयास होता है , गलत व्यय पर प्रश्न चिन्ह खड़े किये जाते हैं .
उर्जा भी तो अपरोक्ष रूप से कीमती धन ही है . आज इनर्जी आडीटर के रोल में आइये .....
क्या आपका विद्युत कनेक्शन वैद्य है ?
कभी आपने विद्युत प्रदाता कंपनी से , बिजली कनेक्शन लेते समय किये गये अनुबंध पर ध्यान दिया है ?
कहीं आप हर बार लेट पेमेंट के चलते व्यर्थ रुपये तो नही दे रहे?
बिजली सब्सिडी पर दी जाती है , अलग अलग उपभोक्ता वर्ग हेतु अलग अलग दरें होती है ,क्या आपका कनेक्शन सही वर्ग में है ? अर्थात घरेलू , व्यवसायिक , कृषि, औद्योगिक या अन्य ... जाँच करे !
कहीं आपके कनेक्शन से किसी अन्य को आपने कोई अवैद्य कनेक्शन तो नहीं दिया है ? प्रायः घर के आस पास लोग छोटे अस्थाई दूकानदारों को या किरायेदारों को स्वतः कनेक्शन दे देते हैं , और इसके लिये उनके मन में अज्ञानता के चलते कोई अपराध बोध ही नहीं होता ! आपको बिजली बेचने का अधिकार नही है .
विभिन्न खपत स्लैब हेतु अलग अलग दर होती है , क्या आपका बिल सही आ रहा है ? क्या कुछ खपत कम करके हम बिल में बड़ी बचत कर सकते हैं ?कहीं खराब मीटर के कारण आपकी लगातार एवरेज बिलिंग ही तो नही हो रही ? मीटर रीडिग और बिल में दर्ज खपत में सामंजस्य है ? आपके कनेक्शन पर यूनिट खपत , फ्लैट रेट , माँग आधारित, या अन्य किस तरह की बिलिंग होरही है , उसे जाने समझें .सही आप्शन चुने .
बड़े उपभोक्ता M.D. controler (अधिकतम माँग नियंत्रक)लगा सकते हैं .
तो कुछ होम वर्क करिये ...आज बस इतना ही कल फिर मिलते हैं ...प्रतिक्षा कीजीये ..!
-ER.Vivek Ranjan Shrivastava
Certified Energy Manager
Bureau of Efficiency, Government of India

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